धमतरी …विश्वनाथ गुप्ता ….

…धमतरी में मदिरा प्रेमियों के लिए जगह जगह जन्नत खोल रखा है ..जहां मदिरा प्रेमी अपनी प्यास और आखरी आस लेकर पहुंचते है जहां वो चाहते है की उनकी पसंदीदा मद रस उसे मिले लेकिन वो उन्हे वहा नही मिलती है एक अलग मायूसी…दूसरा जिस शराब का नाम आज तक सुना न हो ऐसी बॉटल का ढक्कन खोलना उनकी मजबूरी है …और बीयर तो इतनी ठंडी की धूप में रख का नार्मल करना पड़ता है…ये तो हर मदिरा दुकान की अपनी समस्या है की उन्हे जो परोसने बोला जा रहा है वो मदिरा प्रेमियों को परोस रहे है…
उसके बाद दूसरी परेशानी का सामना उन्हे करना बाकी रहता है…
क्यों की कहते है न जन्नत का रास्ता इतना आसान कहा है वहां पहुंचने के लिए….टीले नुमा रास्ते का सामना करना पड़ता है ..जो मदिरा बेचकर तगड़ा मुनाफा कमाने और झोला भर टैक्स वसूलने वाली सरकार ने मदिरा प्रेमियों के लिए बनाए है …जो इतना जायदा एडवेंचर फूल है की कई लोगो की जान भी जा सकती है… क्यों की शराब दुकान के आसपास पीने वालों की तादाद सबसे जायदा है जो वही ढक्कन खोल बॉटल फेक और गटागट पी लेने को अपना हुनर मानते है और एडवेंचर वाली सड़क पर जमकर खेल करते घर को निकलते है …जो की सबसे खतरनाक हिस्सा है …इस जन्नत का जिसे शायद सरकार या प्रशासन सामान्य मान कर चल रही है… जो कभी भी किसी की जान लेने के लिए काफी है …और अगर ऐसी स्थिति में किसी मदिरा प्रेमी की जान उस उड़न खटोला रोड़ को पार करने में जाएगी तो जिम्मेदारी किसकी होगी…शासन की प्रशासन की या घर पर इंतजार कर रहे मदिरा प्रेमी के परिवार की….क्योंकि जिम्मेदारी किसी को तो लेनी पड़ेगी सिर्फ मदिरा बेच कर अपना टारगेट पूरा करना ही प्रशासन शासन की जिम्मेदारी नहीं है…
अब आते है तीसरे सबसे बड़े और महत्व पूर्ण खतरे की ओर जिसे हम की पुरानी चार लाइनों को लिख कर समझना चाहेंगे
मदिरालय जाने को निकलता है पीने वाला ,,किस पथ से जाऊ असमंजस में है भोला भाला
हर राह में खड़े बटंची ,,लूट लेते है पैसा सारा ,,थाने में रपट लिखाऊ कैसे वहां भी है असमंजस जायदा,, सरकारें है खामोश बेच मदीरे का प्याला
नही कोई सुरक्षा टैक्स लेते हर प्याला
ये सिर्फ चार लाइने नही है इसका जिम्मा भी टैक्स वसूलने वाली सरकार का ही है की जिस असुरक्षित जगह में आप मदिरा बेच रहे है खुद को लोहे की सलाखों के पीछे रख कर तो आपको मदिरा प्रेमी की सुरक्षा व्यवस्था का भी इंतजाम करना चाहिए…क्योंकि मदिरा प्रेमी सिर्फ मदिरा प्रेमी नही सरकार को भारी भरकम टैक्स देने वाला है और किसी के घर का वो रखवाला है जिसके ऊपर घर की जिम्मेदारी भी है इस लिए सिर्फ आप उसे कमाई का सिर्फ जरिया मान कर कचड़े का कूडादान नही समझ सकते…
कैमरे के भरोसे सिर्फ क्राइम सीन को कैद किया जा सकता क्राइम रोका नहीं जा सकता

